देहरादून। उत्तराखण्ड में जंगलों में धधकी आग धीरे-धीरे विकराल रूप ले रही है। हालात यह हैं कि जंगल की आग अब आबादी में पहुंचने लगी है। बागेश्वर में पांच मकान इसी आग की चपेट में आ गये। गनीमत रही कि जब मकानों में आग धधकी तब वहां कोई नहीं था वरना बड़ा हादसा हो सकता था। उधर जबतक आग पर काबू पाया जाता तबतक इ मकानों में रखा सामान पूरी तरह राख हो गया था। घटना बागेश्वर कपकोट के नामतीचेटाबगड़ की बताई जा रही है। इस घटना के बाद ग्रामीणों में रोष देखने को मिल रहा है और उन्होंने सरकार से ग्रामीणों को मुआवजा दिए जाने की मांग की है। उधर झिरौली, नैणी के जंगलों में लगी आग मैग्नेसाइट के गोदाम तक पहुंच गई। आग की चपेट में आने से दो गोदाम जलकर राख हो गए। दूसरी ओर अल्मोड़ा में जागेश्वर, लमगड़ा और जौरासी वन क्षेत्र में वनाग्नि की घटनाएं हुईं। फायर सीजन में कई हेक्टेयर वन क्षेत्र जलने के साथ ही लाखों का नुकसान हुआ है। पिथौरागढ़ जिले के बेड़ीनाग क्षेत्र में शाह गराऊं, पोस्ताला, हजेती, जाख, बरसायत, उडियारी में बीते दो दिन से जंगल जल रहे हैं। बेड़ीनाग के आसपास के क्षेत्र में आग पर काफी हद तक काबू पा लिया है। नाचनी में बाथीं-गुट, कोट्यूड़ा, हुपली के पंचायती वनों में ग्रामीणों की मदद से आग पर काबू पाया गया। थल क्षेत्र के वन पंचायत और वन विभाग के चीड़ के जंगलों में लगी आग से चारों ओर धुंध फैली हुई है।
Tushar Kandpal
संपादक